दिल्ली/एनसीआर : पर्वतीय सांस्कृतिक संस्था द्वारा नोएडा स्टेडियम में आयोजित पांच दिवसीय पारंपरिक लोक कला, संस्कृति एवं हस्तशिल्प महाकौथिग का बुधवार को रंगारंग कार्यक्रमों के साथ सफल समापन हो गया।
14वें महाकौथिग मेले के अंतिम दिन लोगों का उत्साह देखने लायक था। सुबह से ही लोग भारी संख्या में मेले में आने लगे थे और शाम होते होते तो नोएडा स्टेडियम में जहां देखो वहीं लोगों का हजूम नज़र आ रहा था। इस दौरान लोग सांस्कृतिक कार्यक्रमों के आनंद के साथ-साथ पहाड़ी उत्पादों को खरीदते दिखे। कार्यक्रम ख़त्म होने के बाद भी लोग खरीदारी करते रहे। अधिकतर लोग खाने के स्टॉलों पर लाइन में खड़े होकर अपने मनपसंद पहाड़ी खाने का स्वाद लेने को आतुर थे। एक अनुमान के मुताबिक बुधवार को नोएडा स्टेडियम में करीब डेढ़ लाख लोग मेला देखने पंहुचे थे।
सुबह का सत्र रहा सुपर मॉम के नाम रहा
मेले के अंतिम दिन सुबह के सत्र का मुख्य अतिथि DCP राम बदन सिंह नोएडा ने रिबन काट कर शुभारंभ किया। तत्पश्चात कार्यक्रम की शुरुआत सीमा द राइजिंग स्टार के द्वारा मां नंदा देवी की वंदना से हुई। फिर सुपर मॉम प्रतियोगिता आरंभ हुई, जिसमें 17 प्रतिभागियों ने अपना जलवा बिखेरा। प्रतियोगिता मे मुख्य जज की भूमिका मे कल्पना चौहान, हेजल खुराना तथा निर्मला पालीवाल रही। जजों ने प्रतिभागियों से मंच पर कैटवॉक हो या उत्तराखंड से संबंधित खानपान, वस्त्र, आभूषण, बोली या उनके सामाजिक योगदान को लेकर प्रश्न किए।
सुपर मॉम प्रतियोगिता की विजेता दीपिका रावत बनी, जबकि दूसरे स्थान पर शारदा अधिकारी, तथा तीसरा स्थान मीणा लिंगवाल ने हासिल किया। इसके साथ ही विशेष पुरस्कार में बिगरेली बांद का पुरस्कार शीला पंत तथा लंबी धौंपेली का पुरस्कार नीमा बिष्ट को दिया गया।
महाकौथिग का शाम का सत्र ही विशेष होता है जिसे देखने के लिए युवा दौड़े चले आते हैं। अंतिम दिन भी युवाओं की तादाद ज्यादा थी और उन्होंने स्वर कोकिला कल्पना चौहान द्वारा पेश गीत फ्वां बाघा रे...... और दर्जी दिदा मीकू तू अंगडी बणै दे..... तो प्रकाश काल्हा के लाल बोतल शराबा जैसे सुपरहिट गीतों पर जगह जगह ग्रुप बनाकर जमकर डांस किया। इसके अलावा लोक गायक राकेश गुसाईं और उभरती गायिका सरोज द्वारा भी उत्तराखंडी लोक गीतों की शानदार प्रस्तुतियां पेश की गयी। साथ ही प्रसिद्ध अभिनेता राकेश गौड़, डॉक्टर सतीश कालेश्वरी, रमेश ठंगरियाल तथा गीता गुसाईं नेगी ने खुबसूरत गढ़वाली नाट्य मंचन कर दर्शकों को भावविभोर कर दिया। वहीं अभिनेत्री कोमल राणा नेगी की टीम द्वारा एक शानदार नृत्य प्रस्तुत किया गया।
अंतिम दिन शाम के सत्र का शुभारंभ ओएनजीसी की डायरेक्टर सुषमा रावत ने दीप प्रज्वलित कर किया। वहीं कैबिनेट मंत्री (वन मंत्री उत्तराखंड सरकार) सुबोध उनियाल ने बतौर मुख्य अतिथि महाकौथिग में प्रतिभाग कर आयोजन की जमकर प्रशंसा करते हुए मुख्य संयोजक राजेंद्र चौहान समेत पूरी महाकौथिग टीम को बधाई दी।
इस अवसर पर कुछ विशिष्ट लोगों को सम्मानित किया गया। जिनमें मुख्य रूप से विदेशों में रह रहे उत्तराखंडियों की मदद के लिए सदैव तत्पर रहने वाले उत्तराखंड के प्रसिद्ध समाजसेवी रोशन रतूड़ी को सम्मानित किया गया। रोशन रतूड़ी ने इस भव्य आयोजन के लिए मुख्य संयोजक राजेंद्र चौहान समेत पूरी महाकौथिग टीम की जमकर प्रसंशा करते हुए आभार जताया।
इसके अलावा पौड़ी गढ़वाल से पहुंचे ग्रामीण पत्रकार के नाम से प्रसिद्ध देवभूमि संवाद के संवाददाता जगमोहन डांगी को उनकी ग्रामीण क्षेत्र की समस्याओं को लेकर की जा रही उल्लेखनीय पत्रकरिता के लिए विशेष रूप से सम्मानित किया गया। साथ ही कार्यक्रम स्थल पर मौजूद अन्य पत्रकारों व मिडिया कर्मियों को भी मंच पर सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम का संचालन आयुषी जुयाल तथा प्रशांत गगोडिया के द्वारा बड़ी ही खूबी के साथ किया गया।
अंत में मुख्य संयोजक राजेन्द्र चौहान ने कार्यक्रम को सफल बनाने में विशेष सहयोग के लिए पुलिस प्रशासन, मीडिया तथा पूरी महाकौथिग टीम का आभार व्यक्त किया।
इस अवसर पर महाकौथिग के मुख्य संयोजक राजेन्द्र चौहान, संस्थापक कल्पना चौहान, अध्यक्ष आदित्य घिल्डियाल, वरिष्ठ उपाध्यक्ष हरीश असवाल, महासचिव लक्ष्मण सिंह रावत, कोषाध्यक्ष सुबोध थपलियाल, वरिष्ठ सलाहकार इंद्रा चौधरी, नरेन्द सिंह बिष्ट, उपेन्द्र पोखरियाल, जगत सिंह रावत, पी.एन. शर्मा, आर.पी. घिल्डियाल, विनोद कबटियाल, दीवान सिंह लटवाल, दिगमोहन नेगी, गिरीश कोटनाला, उदय ममगाई राठी, कृष्ण कुमार सुंदरियाल, देवेन्द्र सिंह रावत, पुष्पा रावत, रेखा चौहान, पूजा भट्ट, सुरेन्द्र बिष्ट, मोनू नेगी, दिनेश लखेड़ा, राजेन्द्र सिंह रावत, चंदन सिंह गुसांई, आनन्द पांडे, दीपक बेलवाल, संजय उनियाल, अमर देव भट्ट, यशवंत सिंह रावत, खेशांत खुराना, रजनी जोशी, सत्येन्द्र नेगी, नीरज रावत, हेमन्त जोशी, हरेन्द्र शर्मा, आयुषी जुयाल, इन्दिरा प्रसाद उनियाल, एस. पी. धस्माना, भगवती प्रसाद जुयाल, रमेश चंद्र नैलवाल, रमेश भारद्वाज, सुदर्शन चौधरी, मंजू बड़थ्वाल, लता रावत, केशव दत्त जोशी, सीमा पंवार, सुनीता रावत, तान्या आर्य, सुषमा जोशी, वंदना बिष्ट, हरिदत्त भट्ट, एस.पी. चमोली, अमित पोखरियाल, आर.एस. असवाल, अनिता भट्ट, मुकेश लखेडा, सुनीता ध्यानी, प्रभा बिष्ट, कविता करगेती, दिगपाल कैंतुरा, धनराज सिंह नेगी, महेश नेगी, अंजू पुरोहित, बबली अधिकारी, पुष्पा देवली, खुशाल सिंह बिष्ट, शिशपाल सिंह रावत, आनंद सिंह रौथाण, गणेश बिष्ट, भीम सिंह रावत, बीना कोठारी, सुनीता रावत, शारदा अधिकारी, लक्ष्मी शर्मा वेदवाल, शीला पंत, विनीता नयाल, भुवनेश्वरी रावत, मंजू जोशी, संगीता भोज, सुनीता नयाल, हरीश जुयाल, जगदीश भट्ट, किरन रामपाल, बबीता नेगी, रेनू उनियाल, बबली ममगाई, लक्ष्मी पांडे, नवीन कोठियाल, राकेश सिंह गुसांई, शोभित गुसांई, आशीष रावत, राजेश गुसांई, विजय चौहान, नितेश भट्ट के अलावा वरिष्ठ पत्रकार प्रदीप वेदवाल, दीप सिलोड़ी, ग्रामीण पत्रकार जन्मोहन डांगी, गोपाल नेगी, द्वारिका चमोली समेत हजारों की संख्या में दर्शक मौजूद रहे।
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