कर्णप्रयाग : जनपद चमोली के विकासखंड पोखरी स्थित ग्रामीण बचत केंद्र मसौली में वर्ष 2017 से 2023 के मध्य सरकारी धन के बड़े पैमाने पर गबन और वित्तीय अनियमितता का खुलासा हुआ है। पुलिस जांच में केंद्र के कर्मचारियों के संलिप्तता की बात सामने आई है। चमोली पुलिस की सतर्कता और एसपी सर्वेश पंवार के निर्देशन में हुई गहन जांच के बाद इस घोटाले में पुलिस ने सेवानिवृत सचिव मोहनलाल और लेखा सहायक अमित सिंह नेगी को गिरफ्तार किया है।
सहायक विकास अधिकारी राजन कुमार ने 13 जनवरी 2025 को थाने में तहरीर दी थी कि पोखरी के मसौली ग्रामीण बचत केंद्र में वर्ष 2017 से 2023 के बीच करोड़ों रूपये का गबन हुआ है। थाना पोखरी ने उनकी तहरीर पर केस दर्ज किया। इसके बाद पुलिस उपाधीक्षक कर्णप्रयाग श्री अमित सैनी की अध्यक्षता में विशेष जांच टीम गठित की गई, जिसमें थानाध्यक्ष गोपेश्वर उ0नि0 विनोद चौरसिया, हे0का0 हरेन्द्र, हे0का0 नरेश पाल व कां0 प्रदीप कुकरेती शामिल थे।
जांच में पाया गया कि सेवानिवृत्त सचिव मोहनलाल (63 वर्ष) निवासी नौटी और लेखा सहायक अमित सिंह नेगी (30 वर्ष) निवासी नौली ने ₹76.48 लाख की हेराफेरी की। इसी आधार पर IPC की धारा 406, 408, 409, 420, 467, 468, 471, 120B के तहत मुकदमा दर्ज कर उनको 15 जुलाई 2025 को गिरफ्तार किया गया।
कुल 962 खातों की जांच में सामने आये ये तथ्य
162 खातों में फर्जी दस्तावेज, जाली हस्ताक्षर के जरिये निकासी की पुष्टि।
पुलिस टीम ने 110 खाताधारकों के बयान विशेष कैंप लगाकर उनके गांवों में दर्ज किए। अधिकांश खाता धारकों ने बताया कि उन्होंने न तो कोई फार्म भरा और न ही कोई पैसों के लेन-देन की जानकारी है।
लेखा सहायक अमित सिंह नेगी ने ₹1.15 करोड़ से अधिक की रकम बैंक में जमा कराए बिना निकाल ली। वहीं मोहनलाल ने ₹12.50 लाख से अधिक की अवैध निकासी की।
जांच में पाया गया कि कई खातों के फॉर्म पर एक ही व्यक्ति के हस्ताक्षर बार-बार किए गए।
एसपी चमोली श्री सर्वेश पंवार ने कहा कि भ्रष्टाचार और वित्तीय अपराध के खिलाफ चमोली पुलिस जीरो टॉलरेंस की नीति पर काम कर रही है। जनता की गाढ़ी कमाई और सरकारी धन के दुरुपयोग को हम किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेंगे। दोषी चाहे किसी भी पद पर हों, सख्त कानूनी कार्यवाही की जाएगी।
वर्तमान में सहकारी समिति से जुड़े अन्य अधिकारियों और सदस्यों की भूमिका की जांच प्रचलन में है।
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