देहरादून : जम्मू-कश्मीर के तंगधार में सेना की ड्यूटी के दौरान वीरगति को प्राप्त हुए दीपेन्द्र सिंह कंडारी का पार्थिव शरीर रविवार को देहरादून के मिलेट्री अस्पताल से सुबह 10 बजे सेना के ट्रक में सैन्य गार्ड के साथ उनके निवास स्थान नयागांव पहुंचा । जहां हजारों की संख्या में पहुंचे लोगों ने वीर सपूत को श्रद्धांजलि अर्पित की ।
श्रद्धांजलि देने वालों में गौरव सैनानी एसोसिएशन उत्तराखंड के अध्यक्ष महावीर सिंह राणा व सैकड़ों पूर्व सैनिक, सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी जी, क्षेत्रीय विधायक सहदेव सिंह पुंडीर जी, कांग्रेस नेता आर्येंद्र शर्मा, कांग्रेस जिला अध्यक्ष राकेश नेगी,व देहरादून के कई पूर्व सैनिक संगठनों सहित क्षेत्र के असंख्य लोगों के अलावा परिवार के लोग सामिल थे।
श्रद्धांजलि के पश्चात वीर सपूत दीपेन्द्र कंडारी का अंतिम संस्कार नयागांव घाट पर सैन्य सम्मान के साथ हुआ। ।
बलिदानी दीपेन्द्र सिंह कंडारी अपने पीछे पत्नी रीना कंडारी व एक बेटा अभिनव कंडारी व एक बेटी अनुष्का कंडारी को छोड़ गये । उनके पिता सुरेन्द्र कंडारी भी पूर्व सैनिक है जबकि दादाजी भी सेना में रहे जिन्हें 1971 के भारत पाक युद्ध में वीर चक्र मिला था।
बता दें कि 17वीं बटालियन गढ़वाल राइफल में तैनात चमोली जिले के करछूना गांव निवासी हवलदार दीपेंद्र कंडारी शनिवार को जम्मू कश्मीर के तंगधार क्षेत्र में ड्यूटी के दौरान बलिदान हो गए थे। उनके बलिदान होने की सूचना से पूरे क्षेत्र में शोक छा गया। आज सुबह देहरादून के नया गांव स्थित श्मशान घाट पर जवान का अंतिम संस्कार किया गया।
सेना के अधिकारियों के अनुसार, हवलदार दीपेंद्र कंडारी सीमा पर गश्त से लौट रहे थे, इसी दौरान उनका पांव फिसल गया और वह गंभीर रूप से घायल हो गए। सैन्य अस्पताल में उपचार के दौरान उनका निधन हो गया।
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