अपने सौंदर्य और रूप से प्रकृति की रानी सी दिखती है रानी झील
उत्तराखडं के पर्यटक स्थल रानीखेत को अपने शांत वातावरण व नैसर्गिक सौंदर्य के साथ साथ रानी झील के लिए भी जाना जाता है। इसके विषय में कहा जाता है कि 1869 में ब्रिटिश सरकार ने कुमाऊं रेजिमेंट के मुख्यालय की स्थापना रानीखेत में की थी और इसे बड़े ही ख़ूबसूरत तरीके से विकसित किया और पानी की पूर्ति को पूरा करने के लिए उनके द्वारा रानी झील का नव निर्माण कर सौन्द्रीयकरण किया गया था। छावनी क्षेत्र में आने के कारण बाद में इस झील को छावनी परिषद् के सुपूर्त कर दिया गया।
केंद्रीय विद्यालय और केनोस्सा कॉन्वेंट स्कूल की दो प्राकृतिक लकीरों के बीच स्थित यह झील रानीखेत का एक लोकप्रिय पर्यटक स्थल है जो रानीखेत से लगभग 2 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। समुद्र तल से 7500 फुट की ऊंचाई पर स्थित रानी झील हरे भरे देवदार के जंगलों से घिरी है जो नौका विहार का आनंद लेने मेडिटेशन और प्रकृति को निकट से पहचानने के लिए एक आदर्श स्थल है। यहाँ पर बच्चों के मनोरंजन के लिए झूले भी लगे हैं जिनका कोई चार्ज नहीं लिया जाता।
पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए स्थानीय विधायक प्रमोद नैनवाल के प्रयासों से छावनी परिषद के अधिशासी अधिकारी श्री डी एन यादव जी द्वारा यह झील अब रानीखेत नगर निगम को सौंप दी गयी है। ऐसा करने से न केवल इसका ठीक से रखरखाव होगा अपितु भविष्य में पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए वैज्ञानिक तौर से विकसित हो सकेगी।
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